Sunday, June 24, 2007

जीवन का उद्देश्य

जीवन का उद्देश्य क्या होना चाहिये ये तो सवाल ही कुछ उलझा हुआ है, इतना जीवन जी लेने के बाद भी यही समझ में आता है कि वास्तव मे जैसा जीवन हम जीना चाहते है, वो जीवन हमको मिल पाता है या नही पर पता नही क्यों जर्मनी के नाटककार बर्तोल्त ब्रेख्त की ये कविता इस मौके पर याद आती है॥जो पुराने दिनॊं की याद दिलाता है, वैसे यह कविता मुझे ठीक तरह से याद नही है किसी को पता हो तो बाद मे फिर उसे दुरुस्त कर लिया जायेगा।
तुम्हारा उद्देश्य ये न हो
कि तुम एक
बेहतर इंसान बनो
बल्कि
ये हो कि तुम
एक
बेहतर समाज से
विदा लो !!

इतनी बडी़ दुनिया को बेहतर बनाना तो अकल्पनीय है बहुतों का नाम दुनियां को बेहतर बनाने में आता है,पर मैं अपना नाम बेहतर इंसानो मे देखना चाहता हूं. हमेशा मेरी यही कोशिश रहती है.कामयाब होना ना होना अलग बात है !!

आज की पीढ़ी के अभिनेताओं को हिन्दी बारहखड़ी को समझना और याद रखना बहुत जरुरी है.|

  पिछले दिनों  नई  उम्र के बच्चों के साथ  Ambrosia theatre group की ऐक्टिंग की पाठशाला में  ये समझ में आया कि आज की पीढ़ी के साथ भाषाई तौर प...